यहां के कलाकारों के लिए आवाज बुलंद करेगा झारखंड संस्कार दीप का डिजीटल प्लेटफार्म

यहां के कलाकारों के लिए

 आवाज बुलंद करेगा झारखंड 

संस्कार दीप का डिजीटल प्लेटफार्म


प्रेम शंकर साहु की रिपोर्ट- झारखंड के चर्चित नागपुर गीत संगीत गायिका सीमा देवी ने झारखंड  संस्कार दीप अर्द्धवार्षिक पत्रिका "झारखंड संस्कार दीप" के प्रकाशन के बाद अब झारखंड संस्कार दीप का डिजीटल प्लेटफार्म पर शुरू किया है, सीमा देवी ने कहा है कि उनका उद्देश्य झारखंड के वैसे नागपुरिया कलाकारों को इस प्लेटफार्म के माध्यम से आवाज देने का काम करना है जो नागपुरी कला और संगीत के माध्यम से झारखंड में जागरूकता लाने हेतु संघर्ष कर रहे हैं । वहीं सीमा देवी ने आगे कहा है कि वो अपने मीडिया प्लेटफार्म के माध्यम से झारखंड सरकार और कला संस्कृति विभाग द्वारा नागपुरिया कलाकारों के प्रति उदासीन रवैय्या और उन्हें उपेक्षित किए जाने को लेकर भी आवाज बुलंद करेंगी।हाल ही में होटवार स्थित कला भवन में कला संस्कृति को बढ़ावा देने के उद्देश्य से क्षेत्रीय भाषाओं में सांस्कृतिक कार्य निदेशालय झारखंड द्वारा कलाकारों  को प्रशिक्षित करने के लिए शिक्षक सहायक शिक्षक का साक्षात्कार लिया गया था, जिसमें चयन कर्ता में पद्मश्री मधु मसुरी मेंहंसमुख , पद्मश्री मुकुन्दं नायक , नन्द लाल नायक, महावीर नायक,मनपुरन नायक वं विभागीय अधिकारी निदेशक एव, विवेक कु सिंह ,थे  साक्षात्कार का रिजेल्ट पन्द्रह दिन पहले निकाला गया चयनित सुची में खुद चयन कमिटी के सदस्य खुद चयनीत है ,जिससे पता चलता है , कि चयन कमिटी कितनी प्रादरशी होगी ,जिन लोगों का चयन किया गया है वो सेवा निवृत्त होकर अपने को कला जगत के धुरंधर समझते हुए दुसरे को चांस न देकर संस्कृति संस्कार को कंलकित। किये है ,जब कि साक्षात्कार में उनसे भी अच्छे जानकार उपस्थित थे,ऐसे चयन कमिटी का घोर निन्दा करते हैं,आज इन्हीं लोगों कि वजह से राज्य के अनेक मूल स्वरूप सांस्कृतिक लुप्त होने को है और चंद रचियार के कलाकार कि वजह से धुमिल हो रहा है इस तमाम बेशर्म लोगों को चुल्लू भर पानी में डुबोकर मर जाना चाहिए जो तनिक नीति सम्बन्ध एवं तकनीक नीति स्वार्थ के कारण राज्य कि सांस्कृतिक को चोपट करनें को है , इसमें पद्मश्री पुरस्कार से सम्मानित दोनों व्यक्तियों पुर्ण जिम्मेदार है।सीमा देवी लोक गायिका सह झारखंड आंदोलन कारी घोर विरोध करती है और विभागीय अधिकारी, मंत्री, मुख्यमंत्री को अवगत कराने और चयन कमिटी द्वारा जाति को समर्थन करने का आरोप लगाते हुए,पुरी साक्षात्कार कार्यक्रम को नये और पारदर्शी रुप में करने के लिए आग्रह करती है , जिससे राज्य कि पारम्परिक सांस्कृतिक को सुरक्षित रखते हुए बचाया जा सके ।

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